बदलती तकनीक और बदलते वक्त के साथ हुनरमंद होना जरूरी : हेमंत

  • रोजगार प्रोत्साहन भत्ता तथा परिवहन भत्ता वितरण का किया शुभारंभ

  •  मुख्यमंत्री ने कहा-  बदलती तकनीक और बदलते वक्त के साथ हर इंसान का हुनरमंद होना जरूरी

  •  मुख्यमंत्री बोले -आपके पास हुनर होगा तो आपकी बाजार में डिमांड होगी रोजगार के मिलेंगे बेहतर विकल्प

  • कुशल युवाओं का झारखंड बनाने का ले रखा है संकल्प

  • आज शिक्षा के साथ-साथ हुनरमंद होना मास्टर डिग्री से कम नहीं है : हेमंत

 

रांची। आज जमाना तकनीक का है। बदलते वक्त के साथ तकनीक भी बदल रही है। ऐसे में हर इंसान को हुनरमंद होना होगा। अगर आपके पास हुनर होगा तो बाजार में आपकी डिमांड भी होगी और रोजगार के बेहतर विकल्प और अवसर भी मिलेंगे, वरना जमाने से आप काफी पीछे रह जाएंगे। ऐसे में आप अपने हुनर को निखारें और अपनी जिंदगी का अहम हिस्सा बनाएं। मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने आज राजधानी रांची के आर्यभट्ट सभागार में में मुख्यमंत्री सारथी योजना के अंतर्गत बिरसा योजना एवं रोजगार प्रोत्साहन भत्ता तथा परिवहन भत्ता वितरण कार्यक्रम का शुभारंभ करते हुए ये बातें कही। उन्होंने कहा कि कौशल विकास से जीवन में बदलाव के साथ ऊर्जा का संचार होता है एवं सकारात्मक सोच के साथ कार्य करने की शक्ति मिलती है।

 

 कौशल विकास के प्रशिक्षण के लिए बड़े शहरों का रुख नहीं करना पड़ेगा

 

मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार ने यहां के ग्रामीण नौजवानों के स्किल डेवलपमेंट के लिए यह योजना शुरू की है । पहले जहां आपको कौशल विकास के प्रशिक्षण के लिए बड़े शहरों का रुख करना पड़ता था। वहीं, अब आपको अपने प्रखंड में ही खोले जा रहे बिरसा केंद्र में अपनी इच्छा के अनुरूप फील्ड में स्किल डेवलपमेंट का कोर्स निशुल्क कर सकेंगे । इतना ही नहीं आपको रोजगार प्रोत्साहन भत्ता और परिवहन भत्ता भी मिलेगा, ताकि आप अपने हुनर को बेहतर तरीके से निखार सकें।

 

 हर नौजवान को हुनरमंद बनाने का प्रयास

 

मुख्यमंत्री ने कहा कि कुशल युवाओं का झारखंड बनाने का हमारा संकल्प है। इस कड़ी में साक्षर, निरक्षर, कम पढ़े लिखे और  उच्च शिक्षा प्राप्त युवाओं के स्किल को निखारने के लिए सरकार काम कर रही है । मेरा मानना है कि आज शिक्षा के साथ-साथ हुनरमंद होना किसी मास्टर डिग्री से कम नहीं है। आज एमबीबीएस और बी टेक का कोर्स करने के बाद आप नौकरी तो पा लेंगे, लेकिन अच्छे अवसर के लिए आपके पास प्रबंधन की डिग्री भी बेहद जरूरी है।

 

 आपने जो सोचा है, उस राह पर आगे बढ़े, सरकार आपके साथ खड़ी रहेगी

 

मुख्यमंत्री ने कहा कि बिना वजह  समय और करियर बर्बाद नहीं हो, आपको हर हाल में अपने आप को निखारना होगा। आपने जो सोचा है, उस राह पर आगे बढ़ें, सरकार आपके साथ सहयोग करेगी। आप एक कदम आगे बढ़ेंगे तो सरकार चार कदम आगे बढ़कर आपका साथ देगी। जरूरत इस बात की है कि आप सरकार की योजनाओं से जुड़कर उसका लाभ लें।

 

 काम करने में किसी प्रकार का संकोच नहीं करें

 

मुख्यमंत्री ने कहा कि काम कोई भी छोटा और बड़ा नहीं होता है।  ऐसे में काम करने से आप संकोच नहीं करें। क्योंकि, जिस काम से आपका घर- परिवार और जीवन चलता है , वह “भगवान” समान होता है। मुख्यमंत्री ने कहा कि आपको अपने राज्य में रोजगार के बेहतर अवसर मिले, इस दिशा में सरकार लगातार प्रयास कर रही है ।

 

 मजदूरों के हितों का कर रहे संरक्षण

 

मुख्यमंत्री ने कहा कि झारखंड मजदूर बहुल राज्य है। यहां के लाखों मजदूर दूसरे राज्यों में काम कर रहे हैं। लेकिन, इसके बाद भी पिछले दो दशकों में मजदूरों के प्रति ना तो किसी तरह की संवेदना देखने को मिली और ना ही उनके लिए योजनाएं बनाई गई । उनके हितों को अनदेखा किया जाता रहा।  लेकिन, हमारी सरकार पूरी संवेदना के साथ मजदूरों के कल्याण के लिए कई योजनाएं चला रही है, भले ही मजदूर राज्य में काम कर रहा हो या दूसरे राज्यों अथवा विदेशों में। सभी मजदूरों के हितों का संरक्षण सरकार कर रही है।

 

 बड़े पैमाने पर हो रही नियुक्ति, निजी क्षेत्रों में भी हजारों युवाओं को मिला रोजगार

 

मुख्यमंत्री ने कहा कि आज झारखंड में बड़े पैमाने पर नियुक्तियां हो रही हैं। कई विभागों में हजारों पद भरे जा चुके हैं ।अनेक पदों के लिए नियुक्ति प्रक्रिया चल रही है। अभी 26 हज़ार शिक्षकों के लिए विज्ञापन निकल चुका है । ऐसे में जहां देशभर में  सरकारी नियुक्तियां सिकुड़ रही है, हम बड़े पैमाने पर युवाओं को बहाल कर रहे हैं । उन्होंने यह भी कहा कि निजी क्षेत्रों में भी अब तक 20,000 से ज्यादा युवाओं को सरकार के प्रयासों से रोजगार उपलब्ध कराया जा चुका है। हमारा प्रयास हर हाथ को काम देना है।

 

 स्वरोजगार के प्रति युवाओं का तेजी से बढ़ रहा रुझान

 

मुख्यमंत्री ने कहा कि बदलते समय के साथ शिक्षित युवाओं में स्वरोजगार के प्रति रुझान तेजी से बढ़ रहा है । पहले जहां वे किसी कंपनी में किसी के अधीन काम करते थे । आज अपना व्यवसाय खड़ा कर चुके हैं और अपने साथ कई नौजवानों को भी रोजगार देने का काम कर रहे हैं। सरकार भी स्वरोजगार को बढ़ावा देने के लिए मुख्यमंत्री स्वरोजगार सृजन योजना लागू की है । आप इन योजनाओं से जुड़कर अपने व्यवसाय और आय को बढ़ा सकते हैं।

 

  स्कूली शिक्षा से लेकर विदेशों में उच्च शिक्षा का खर्च दे रही सरकार

 

मुख्यमंत्री ने राज्य के बच्चे- बच्चियों से कहा कि आप अपने पढ़ाई पर ध्यान दें। आपकी पढ़ाई का सारा खर्च सरकार वाहन करेगी। उन्होंने कहा कि स्कूली शिक्षा से लेकर विदेशों में उच्च शिक्षा तक का खर्च सरकार वाहन कर रही है । इतना ही नहीं प्रतियोगिता परीक्षाओं की तैयारियों के साथ मेडिकल- इंजीनियरिंग और अन्य प्रोफेशनल कोर्सेज के लिए भी सरकार आर्थिक सहयोग कर रही है। आपकी गरीबी आपकी पढ़ाई में बाधा ना बने, इसी बात को ध्यान में रखकर सरकार ने ये कदम उठाए हैं ।

 

 आप यूथ आईकॉन बनें, मार्गदर्शक का रोल निभाएं

 

मुख्यमंत्री ने बिरसा केंद्र में स्किल डेवलपमेंट के लिए चयनित युवक-युवतियों का उत्साहवर्धन करते हुए कहा कि आप यहां से प्रशिक्षण प्राप्त करने के बाद अपने फील्ड के यूथ आईकॉन बने और एक मार्गदर्शक का रोल निभाएं, तभी अन्य बच्चे बच्चियां भी स्किल डेवलपमेंट का कोर्स करने के लिए आगे  आएंगे।

 

 बिरसा केंद्र के लिए चयनित युवक-युवतियों से सीधा संवाद,  डीबीटी के माध्यम से खाते में राशि ट्रांसफर

 

मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम के दौरान बोकारो, चतरा, गढ़वा साहिबगंज और पश्चिमी सिंहभूम जिले के एक -एक प्रखंड में खुलने वाले बिरसा केंद्र में प्रशिक्षण के लिए चयनित युवक-युवतियों से सीधा संवाद किया। इस मौके पर उन्होंने सांकेतिक रूप से 1039 प्रशिक्षणार्थियों के बैंक खाते में रोजगार प्रोत्साहन भत्ता के रूप में 13 लाख 9 हज़ार 5 सौ रुपए और  2178  प्रशिक्षणार्थियों को 11 लाख 87 हज़ार 840 रुपए परिवहन भत्ता  के रूप में ट्रांसफर किए।

 

क्या है बिरसा योजना

 

मुख्यमंत्री सारथी योजना के अंतर्गत  बिरसा योजना के तहत प्रखंड स्तर पर कौशल विकास का प्रशिक्षण केंद्र खोला जाना है।  इस योजना के पहले चरण में अस्सी प्रखंडों में बिरसा केंद्र खोले जा रहे हैं। यहां युवाओं को निशुल्क कौशल विकास का प्रशिक्षण दिया जाएगा । प्रशिक्षण लेने वाले युवाओं को एक हज़ार रुपए रोजगार प्रोत्साहन भत्ता मिलेगा, जबकि  युवतियों, दिव्यांगों और परलैंगिको के लिए यह राशि एक हज़ार पांच सौ रूपए प्रति माह होगी। इसके अलावा गैर आवासीय प्रशिक्षण के प्रशिक्षणार्थियों को एक हज़ार रूपए प्रतिमाह परिवहन भत्ता भी मिलेगा।  प्रशिक्षण के बाद तीन माह के अंदर नियोजन नहीं होने की स्थिति में 1 वर्ष तक रोजगार प्रोत्साहन भत्ता भी दिया जाएगा।

 

इस अवसर पर ग्रामीण विकास मंत्री  आलमगीर आलम, श्रम मंत्री सत्यानंद भोक्ता, राज्यसभा सांसद श्रीमती महुआ माजी, मुख्यमंत्री के सचिव विनय कुमार चौबे, श्रम विभाग के सचिव राजेश शर्मा, श्रम आयुक्त संजीव कुमार बेसरा, झारखंड कौशल विकास मिशन सोसाइटी के मिशन डायरेक्टर  सुनील कुमार, श्रम विभाग के अपर सचिव  अमित प्रकाश और  पवन कुमार    मौजूद थे।